भाजपा उत्तर भारतीय मोर्चा के अध्यक्ष्य संजय पांडेय जी ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को पत्र लिखकर अनेक दशकों से चली आ रही रामलीला के मंचन को अनुमति देने के लिए अनुरोध किया,
उन्होंने कहा के कुछ ही दिनों में दशहरा आने वाला है। उस दिन मर्यादा पुरुषोत्तम प्रभु श्रीरामचन्द्र जी की जीवनगाथा लोगों तक पहुंचाने के लिए रामलीला रचाई जाती है। यह एक सैकड़ों वर्षों की परंपरा हैं जो महाराष्ट्र में कई दशकों से चल रही हैं। परन्तु इस वर्ष महाराष्ट्र सरकार रामलीला का मंचन करने की अनुमति नहीं दे रहा है जबकि रामलीला सादर करने वाले आयोजक एवं कलाकार पूरी सावधानियों के साथ उसे आयोजित करने के लिए तैयार है । और अगर आपने अभी अनुमति नहीं दी तो फिर अगले साल स्थानिक प्रशासन पिछले साल की अनुमति की मांग करेगा जो रामलीला आयोजकों के पास नहीं होगी क्यों की आप इस साल उसकी अनुमति नहीं दे रहे हैं। इस तरह से आप एक हिन्दुओं से जुड़ी परंपरा को खतम करने की ओर कदम बढ़ा रहा है।
जब मदिरा की दुकानें एवं मॉल खुल सकते हैं तो फिर प्रशासन को मंदिर खुलवाने और रामलीला के आयोजन से दिक्कत क्या हैं? आपने भले ही हिन्दू धर्म और उनसे जुड़ी आस्थाओं से मुंह मोड़ लिया है किन्तु आज भी करोड़ों हिन्दू अपनी परंपराओं को चलाने का सामर्थ्य रखते है । पर कानून का सम्मान रखते हुए शांत है। हिन्दू सहनशील है पर सनातन हिन्दू धर्म की रक्षा के लिए संघर्षशील भी बन सकता है।
४८० साल के कड़े संघर्ष के बाद ५ अगस्त २०२० को प्रभु श्रीराम जन्मभूमि अयोध्या में श्रीराम जी के भव्य मंदिर का शिलान्यास हुआ। इस ऐतिहासिक क्षण का इंतजार भारत का हर एक हिन्दू 480 सालो से कर रहा था। उस वक़्त संजय पांडेय जी ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे अनुरोध किया था के कोरोना का प्रकोपकाल होने के कारण इस शुभघड़ी में करोडों रामभक्त अयोध्या नही पहुँच पायेंगे इसीलिए करोड़ों हिंदुओं की आस्था और भावनाओं को देखते हुए महाराष्ट्र के सभी मंदिरों को 5 अगस्त को सुबह से शाम के लिए भाविकों के दर्शन हेतू खोल दिया जाना चाहिए। ऐसा करने से करोड़ों हिंदू अपने आराध्य भगवान श्रीराम के मंदिर के शिलान्यास समारोह में मानसिक रूप से सम्मलित हो सकें। मास्क और सोशल डिस्टन्सिंग के पालन के साथ मंदिरो में शंखनाद और घंटनाद के साथ भगवान प्रभु श्री रामचंद्रजी के चरणो में महाआरती कर सके. परन्तु उद्धव ठाकरे जी ने हिन्दुओं की भावनाओ को नजरंदाज कर के मंदिर खोलने की अनुमति नहीं दी।
उसी बात को याद दिलाते हुए संजय पांडेय जी ने पत्र में यह लिखा के आशा करता हूं के हिन्दू ह्रदय सम्राट बालासाहेब ठाकरे के वक़्त की हिंदुत्व वाली शिव सेना आज भी जीवित होगी और आप इस दिशा में विचार कर करोड़ों हिन्दुओं आस्थाओं को देखते हुए आप रामलीला के मंचन के आयोजन के लिए अनुमति प्रदान करेंगे।