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राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 की तीसरी वर्षगांठ के संबंध में केंद्रीय विद्यालय सिलवासा में प्रेस कॉन्फ्रेंस का किया गया आयोजन

राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तीन वर्ष पूरे: केंद्रीय विद्यालयों में 10+2 की जगह 5+3+3+4 पाठ्यक्रम होंगे लागू
स्टार मीडिया न्यूज ब्यूरो, 
 सिलवासा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के तीन वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में केंद्रीय विद्यालय सिलवासा और प्रेस सूचना ब्यूरो द्वारा संयुक्त रूप से केंद्रीय विद्यालय, सिलवासा में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित किया गया। जिसमें शिक्षा नीति की उपलब्धियों और उद्देश्यों को साझा किया गया। साथ ही बताया कि केंद्रीय विद्यालयों में 10+2 की जगह 5+3+3+4 पाठ्यक्रम लागू किया जा रहा है।
मीडिया से बात करते हुए प्रो. आलोक तिवारी ने कहा कि नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति भारत को विकासशील राष्ट्र से विकसित राष्ट्र की ओर ले जाएगी। जिसमें  भविष्योन्मुखी व्यवस्थाएं की गई हैं ताकि छात्र रचनात्मक तरीके से शिक्षा प्राप्त कर सकें और निर्धारित पाठ्यक्रम के साथ-साथ रुचि और कौशल के विषयों में महारत हासिल कर सकें।
सरकार द्वारा शिक्षा के स्तर में सुधार के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे हैं, जिसके तहत बच्चों को पहली कक्षा से ही मूल्यवान एवं व्यापक शिक्षा मिले, पाठ्येतर गतिविधियों में रुचि इस शिक्षा नीति का मूल उद्देश्य है। प्राचार्य ने तीन वर्ष पूरे होने पर राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के सकारात्मक बदलावों की घोषणा करते हुए कहा कि वर्तमान 10+2 शैक्षणिक प्रणाली के स्थान पर 5+3+3+4 की नई संरचना लागू की जाएगी।
फिलहाल केंद्रीय विद्यालयों और नवोदय विद्यालयों में राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू हो चुकी है। जिसे चरणबद्ध तरीके से राज्य स्तर पर लागू किया जाएगा। साथ ही, बच्चों को स्कूल के माहौल में ढालने में सक्षम बनाने के लिए, बच्चों को तीन साल पूरा करने के बाद बालवाटिका में और 6 साल के बाद कक्षा 1 में प्रवेश दिया जाएगा।
नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति छात्रों को उनकी रुचि के अनुसार विषयों का अध्ययन करने की भी अनुमति है। सीखने पर जोर देने से पाठ्यपुस्तकों पर निर्भरता कम हो जाएगी। साथ ही, कौशल विकास को बढ़ावा मिल सकेगा। आलोक तिवारी ने कहा कि वर्ष 2030 तक कक्षा 1 से 10 तक में 100 प्रतिशत नामांकन का लक्ष्य रखा गया है।
उन्होंने कहा कि शिक्षा नीति में छात्रों में कौशल विकास और अनुभव आधारित शिक्षा पर भी ध्यान केंद्रित किया गया है। उन्होंने यह विश्वास भी जताया कि भारत एक विकासशील देश से एक विकसित देश के रूप में अग्रणी बनेगा, उन्होंने कहा कि छात्र हिंदी और अंग्रेजी के अलावा स्थानीय भाषा में भी शिक्षा प्राप्त कर सकेंगे।
प्रेस वार्ता में केन्द्रीय विद्यालय सिलवासा की प्राचार्य सुश्री सुष्मिता भादुडी, जवाहर नवोदय विद्यालय की प्रभारी प्रधानाध्यापिका श्रीमती कंचन राणा, सिलवासा के प्रभारी प्राचार्य  वी.एस.  कुशवाह सहित प्रिंट एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के प्रतिनिधि उपस्थित थे।

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