बैंक ग्राहक ज्योत्सनाबेन के लिए हमेशा सर्वोपरि रहे हैं:- शाखा प्रबंधक रोहिणी गोयल
स्टार मीडिया न्यूज,
वलसाड। वलसाड शहर के मोटा बाजार स्थित भारतीय स्टेट बैंक की मुख्य शाखा में विशेष सहायक के पद पर कार्यरत ज्योत्सनाबेन जी. सोलंकी की आयु मर्यादा के कारण सेवानिवृत्त होने पर उनकी यादगार सेवानिवृत्ति समारोह तीथल रोड स्थित ‘परिवार’ बैंक्वेट हॉल में आयोजित किया गया। स्टेट बैंक और यूनियन की ओर से ज्योत्सनाबेन को शॉल, नारियल और स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया।
इस अवसर पर स्टेट बैंक की शाखा प्रबंधक रोहिणी गोयल ने ज्योत्सनाबेन की कर्तव्य निष्ठा की सराहना की और कहा कि बैंक में उनके लिए ग्राहक सर्वोपरि हैं। विशेषकर वरिष्ठ नागरिकों के प्रति उनकी सेवा अत्यंत भावपूर्ण रही है। एसबीआई कर्मचारी संघ के प्रदेश सचिव राजेशभाई पटेल और संघ के पूर्व प्रदेश सचिव शांतिलालभाई जेठवा ने सेवानिवृत्त ज्योत्सनाबेन को 34 वर्षों की सफल सेवा के लिए बधाई दी और उनके भावी जीवन में अच्छे स्वास्थ्य, सुख, शांति और समृद्धि की कामना की। पोरबंदर के लीड बैंक (स्टेट बैंक) के वित्तीय साक्षरता सलाहकार कमलेशभाई गोहेल ने बैंक में अपने कार्यकाल के दौरान ग्राहकों के साथ ज्योत्सनाबेन की यादों को ताजा किया और बैंक के प्रति उनकी निष्ठा और समर्पण का सम्मान किया।
परिवार द्वारा मंच पर प्रस्तुत किया गया नाटक ‘रिश्तों की रमझट’ बना आकर्षण का केंद्र:-
वलसाड के नवरंग डांस अकादमी के डायरेक्टर शैलेशभाई जैन ने स्टेट बैंक के कर्मचारियों द्वारा वेलकम एंट्री व डांस अभिनय के साथ-साथ ज्योत्सनाबेन के परिवार द्वारा मंच पर प्रस्तुत नाटक ‘रिश्तो की रमझट’ की सराहना की। रिश्तों और परिवार की अहमियत बताने वाले इस नाटक को देखकर कई लोगों की आंखें नम हो गईं।
नौकरी से सेवानिवृत्त हुईं ज्योत्सनाबेन सोलंकी ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ”मैं स्टेट बैंक में अपनी नौकरी के बिना अपने जीवन की कल्पना नहीं कर सकती.” स्टेट बैंक के माध्यम से ही उन्हें समाज में प्रमुख स्थान प्राप्त हुआ। बैंक में एक समय ऐसा भी था जब नई तकनीक के चलते कर्मचारी वीआरएस (स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति) ले रहे थे। मैं उन सभी को धन्यवाद देना चाहती हूं जिन्होंने इस दौरान मेरा समर्थन किया। इस अवसर पर वलसाड जिला के स्टेट बैंक की विभिन्न शाखाओं के अधिकारी-कर्मचारी और ज्योत्सनाबेन के परिवार से पुत्र जिग्नेश जी.सोलंकी, जीतेन्द्र जी. सोलंकी, बहू दक्षा सोलंकी, मोनिका सोलंकी, पोते आर्यन सोलंकी और पोती रेनी सोलंकी सहित बड़ी संख्या में रिश्तेदार और दोस्त मौजूद थे।